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Defination of Homonyms Words

 

No.-1.ऐसे शब्द जो पढ़ने और सुनने में लगभग एक-से लगते हैं, परंतु अर्थ की दृष्टि से भिन्न्न होते हैं, श्रुतिसम भिन्नार्थक शब्द कहलाते हैं।

दूसरे शब्दों में- कुछ शब्द ऐसे होते हैं जिनमें स्वर, मात्रा अथवा व्यंजन में थोड़ा-सा अन्तर होता है। वे बोलचाल में लगभग एक जैसे लगते हैं, परन्तु उनके अर्थ में भिन्नता होती है। ऐसे शब्द 'श्रुतिसम भिन्नार्थक शब्द' कहलाते हैं।

 जैसे- घन और धन दोनों के उच्चारण में कोई खास अन्तर महसूस नहीं होता परन्तु अर्थ में भिन्नता है।

घन= बादल

धन= सम्पत्ति

 हिंदी भाषा में ऐसे बहुत से शब्द हैं, जिनमें से कुछ की सूची नीचे दी जा रही है :

 

शब्द

अर्थ

शब्द

अर्थ

No.-1. अचार
आचार

खट्टा खाद्य पदार्थ
व्यवहार

No.-2.अधम
अधर्म

नीच
पाप

No.-3.अवधि
अवधी

समय
भाषा

No.-4.अन्न
अन्य

अनाज
दूसरा

No.-5. अंस
अंश

कन्धा
हिस्सा

No.-6.अविराम
अभिराम

लगातार
सुन्दर

No.-7.अध्ययन
अध्यापन

पढ़ना
पढ़ाना

No.-8.अभिसार
अभीसार

प्रेमी से छिपकर मिलना
आक्रमण

No.-9.अंबर
अंबार

वस्त्र, आकाश
ढेर

No.-10.अगम
आगम

दुर्गम
शास्त्र

No.-11.अन्यान्य
अन्याय

दूसरे
न्याय के विरुद्ध

No.-12.अरि
अरी

शत्रु
संबोधन

No.-13.अवसान
आसान

समाप्ति
सरल

No.-14.आयात
आयात

बाहर से आना
लंबा, विस्तृत, विशाल

No.-15. आदि
आदी

प्रारम्भ
आदत

No.-16.अँगना
अंगना

आँगन
स्त्री

No.-17. अवलम्ब
अविलम्ब

सहारा
शीघ्र

No.-18. अन्त
अंत्य

समाप्ति
नीच

No.-19. अम्बुज
अंबुधि

कमल
सागर

No.-20. अनिल
अनल

हवा
आग

No.-21. अपेक्षा
उपेक्षा

इच्छा
निरादर

No.-22. अतुल
अतल

जिसकी तुलना न हो
तलहीन

No.-23. अचर
अनुचर

न चलनेवाला
दास/नौकर

No.-24. अतुल
अतल

जिसकी तुलना न हो
तलहीन

No.-25. अब्ज
अब्द

कमल
बादल/वर्ष

No.-26. अभिज्ञ
अनभिज्ञ

जाननेवाला
अनजान

No.-27. अघ
अग

पाप
सूर्य/स्थावर

No.-28. अर्घ्य
अर्घ

पूजनीय
मूल्य

No.-29. अनिष्ट
अनिष्ठ

बुराई
श्रद्धाहीन

No.-30. अब
अव

इस समय
एक उपसर्ग

No.-31. अमित
अमीत

अत्यधिक
शत्रु

No.-32.अवंद्य
अवध्य

निंदनीय
बध न करने योग्य

No.-33.अस्र
अस्त्र

आँसू
हथियार

No.-34. आगमी
आगामी

ज्योतिषी
आनेवाला

No.-35.आसक्ति
आसत्ति

अनुरक्ति निकटता

No.-36. आगमी
आगामी

ज्योतिषी
आनेवाला

No.-37.आहुत
आहूत

यज्ञ
बुलाया/आमंत्रित

No.-38. अपत्य
अपथ्य

सन्तान
अहितकर

No.-39.अलक
अलका

बाल
एक नगरी

No.-40.आवास
आभास

वास-स्थान
झलक

No.-41.आस्तिक
आस्तीक

ईश्वरवादी
एक मुनि

No.-42.अरथी
अर्थी

टिकठी/झाँजी
चाहने वाला

No.-43. अकर
आकर

न करने योग्य
खान/खदान

No.-44. अरबी
अरवी

अरब की भाषा
कन्द या घुइयाँ

No.-45. अर्जन
अर्चन

संग्रह
पूजा

No.-46. अलिक
अलीक

ललाट
झूठा

No.-47. अवलि
आविल

पंक्ति
गन्दा

No.-48. आँटी
आँठी

सूत का लच्छा
गुठली

शब्द

अर्थ

शब्द

अर्थ

No.-1. इति
ईति

समाप्त
भय

No.-2.इंदिरा
इंद्रा

लक्ष्मी
इंद्राणी

No.-3. इस्तरी
स्त्री

वह उपकरण जिससे कपड़ों को 'प्रेस' किया जाता है।
महिला

No.-4. ईश
ईष

स्वामी/मालिक
शिव का एक अनुचर

No.-5. ईसा
ईशा

हरिष/बल
ऐश्वर्य/दुर्गा/ईसा मसीह

No.-6. इत्र
इतर

सुगन्ध
दूसरा/चरस

शब्द

अर्थ

शब्द

अर्थ

No.-1. उपकार
अपकार

भलाई
बुराई

No.-2. उपल
उपला

पत्थर
कण्डा

No.-3. उबरना
उभारना

बचाना
उकसाना/ऊँचा करना

No.-4. उपयुक्त
उपर्युक्त

उचित
ऊपर कहा गया

No.-5. उद्धार
उधार

कष्ट से मुक्ति
कर्ज

No.-6. उद्धत
उद्यत

अक्खड़/उद्दंड
तैयार

No.-7. उपस्थिति
उपस्थित

उपलब्धता
हाजिर

No.-8. उत्कच
उत्कट

गंजा
तीव्र/प्रबल

,

शब्द

अर्थ

शब्द

अर्थ

No.-1.कंजर
कुंजर

खानाबदोश या घुमक्कड़ लोग
हाथी

No.-2.कड़ाई
कढ़ाई

सख्ती
कशीदा, चिकन, जरदोजी

No.-3. कोश
कोष

म्यान
खजाना

No.-4.कंगाल
कंकाल

गरीब
हड्डी का ढाँचा

No.-5.काठ
काट

लकड़ी
काटना

No.-6.कृपण
कृपाण

कंजूस
कटार

No.-7.कृति
कृती

रचना
पुण्यात्मा

No.-8. कुल
कूल

वंश
किनारा

No.-9. क्रम
कर्म

सिलसिला
कार्य

No.-10.करण
कर्ण

साधन
कान

No.-11. कथा
कत्था

कहानी
खैर का सत

No.-12.कड़ी
कढ़ी

सख्त
दही और बेसन का सालन

No.-13. कटिबन्ध
कटिबद्ध

नाड़ा
तैयार

No.-14.कटौती
कठौती

कमी
काठ का बर्तन

No.-15. कँटीला
कटीला

काँटेदार
काटने वाला

No.-16. किला
कीला

गढ़
खूँटी/कील

No.-17. कुच
कूच

स्तन
प्रस्थान

No.-18.कुट
कूट

किला/घर
पहाड़ की चोटी/व्यंग्य

No.-19. कुमार
कुम्हार

बिना ब्याहा
कुम्हार बर्तन बनाने वाला

No.-20. केश
केस

बाल
मुकदमा

No.-21. केशर
केसर

सिंह की गर्दन के बाल
जाफरान/कुमकुम

No.-22.कोशल
कौशल

अवध प्रदेश
नैपुण्य

No.-23. कोड़ी
कौड़ी

बीस या बीसका समूह
कपर्दिका

No.-24. कोर
कौर

किनारा
ग्रास

No.-25. कपिश
कपीश

मटमैला
हनुमान/सुग्रीव

No.-26. कर्ता
करता

एक प्रकार का कारक
करना

No.-27. खान
खान

खदान
पठान गुर उपाय

No.-28. खोलना
खौलना

बन्धनमुक्त करना
उबलना

No.-29. खर्राच
खरोंच

अमितव्ययी
छिल जाने या रगड़ का चिह्न

,

शब्द

अर्थ

शब्द

अर्थ

No.-1. ग्रह
गृह

सूर्य/चन्द्र आदि नक्षत्र
घर

No.-2. गिरा
गिरा

वाणी
पतित

No.-3. गेय
ज्ञेय

गाने वाला
जो जाना जा सके

No.-4. गूँधना
गूथना

सानना
पिरोना

No.-5. गाड़ी
गाढ़ी

यान
गहरी

No.-6. गिरि
गिरी

पर्वत
बीज

No.-7. गुर
गुरु

उपाय
भारी, शिक्षक

No.-8. चित्त
चित

मन
पड़ा हुआ

No.-9. चपत
चम्पत

थप्पड़
गायब

No.-10. चरस
चरसा

गाँजा/अतर
चमड़े का थैला

No.-11.चक्रवाक
चक्रवात

चकवा पक्षी
बवन्डर

No.-12. चिता
चिन्ता

मुर्दा जलाने वाली
सोचनीय भाव

No.-13.चरम
चर्म

अंतिम
खाल

No.-14.चर्म
चरम

चमड़ा
अत्यधिक

No.-15. चिर
चीर

देर
वस्त्र

No.-16. चरित
चरित्र

जीवनी
आचरण

No.-17. छात्र
छत्र

विद्यार्थी
छत

, ,

शब्द

अर्थ

शब्द

अर्थ

No.-1. जवान
जबान

युवा
बोली

No.-2. जरा
जरा

थोड़ा/अल्प
बुढ़ापा

No.-3. जन्ता
जनता

चक्की
लोग

No.-4. जरठ
जठर

बूढ़ा
पेट

No.-5.जुड़ा
जूड़ा

संलग्न
केशों का बन्धन

No.-6.जुआ
जूआ

बैलों के कन्धे की लकड़ी
द्यूत क्रीड़ा

No.-7. जूठा
झूठा

उच्छिष्ट भोजन
असत्यवादी

No.-8. जगत्
जगत

संसार
कुएँ का चबूतरा

No.-9. छर
झर

छर्रों के वेग से निकलने का शब्द
पानी गिरने का स्थान

No.-10. डोल
डौल

लोहे का बर्तन
ढाँचा

No.-11. डोंगी
ढोंगी

छोटी नाव
पाखण्डी

No.-12. डीठ
ढीठ

नजर
धृष्ट

No.-13. डाल
ढाल

वृक्ष की शाखा
रक्षक

No.-14. ढलाई
ढिलाई

ढालने की क्रिया
शिथिलता

, , ,

शब्द

अर्थ

शब्द

अर्थ

No.-1. तरणि
तरणी

सूर्य
नाव

No.-2. ताक
ताख

घूरकर देखना
दीवार का आला

No.-3. तनु
तनू

दुबला-पतला शरीर
पुत्र, गाय

No.-4.तोष
तोश

सन्तुष्टि
हिंसा

No.-5.  तरंग
तुरंग

लहर
घोड़ा

No.-6. थति
तिथि

धरोहर
दिनांक

No.-7. दिन
दीन

दिवस
गरीब

No.-8. दशा
दिशा

हालत
तरफ

No.-9. देव
दैव

देवता
भाग्य

No.-10. द्रव
द्रव्य

तरल पदार्थ
धन

No.-11. दारू
दारु

शराब
लकड़ी

No.-12. दशन
दंशन

काटना
दाँत

No.-13. दिया
दीया

देना
दीपक

No.-14. दीप
द्वीप

दीपक
टापू

No.-15.दारा
द्वारा

स्त्री
मार्फत

No.-16. धन
धना

सम्पत्ति
प्रीतम

No.-17. धान
धन्य

अन्न विशेष
सराहना

शब्द

अर्थ

शब्द

अर्थ

No.-1.निर्वाण
निर्माण

मृत्यु
बनाना

No.-2. नियत
नीयत

निश्चित
इरादा

No.-3.नन्दी
नान्दी

शिवजी का बैल
मंगलाचरण

No.-4. नाइ
नाई

तरह/समान
बाल काटने वाला

No.-5. नाड़ी
नारी

शिरा या नब्ज
स्त्री

No.-6. नित
नीत

प्रतिदिन नत झुका हुआ
लाया हुआ नीति सदाचार पद्धति

No.-7. नावक
नाविक

वाण
मल्लाह

No.-8. निमित्त
नमित

हेतु
झुका हुआ

No.-9. नाहर
नहर

सिंह
पानी की कुल्या

No.-10.निर्
निरा

बिना
विशुद्ध

No.-11. नीर
नीरा

पानी
ताड़ का रस

No.-12. निसान
निशान

झण्डा
चिह्न

No.-13. निहित
निहत

छिपा हुआ/मौजूद
मारा हुआ

No.-14. नीरद
नीरज

बादल
कमल

,

शब्द

अर्थ

शब्द

अर्थ

No.-1. पास
पाश

निकट
बन्धन

No.-2. पृष्ट
पृष्ठ

पूछा हुआ
पन्ना

No.-3. प्रसाद
प्रासाद

कृपा
भवन

No.-4. परुष
पुरुष

कठोर
नर/मर्द

No.-5. पका
पक्का

पका हुआ
मजबूत

No.-6. पथ
पथ्य

रास्ता
रोगी का आहार

No.-7. पानी
पाणि

जल
हाथ

No.-8. पुर
पूर

नगर
बाढ़

No.-9. पवन
पवन

वायु
पवित्र

No.-10. प्रणय
परिणय

प्रेम
विवाह

No.-11. पट
पट्ट

वस्त्र
तख्ती

No.-12. परिणाम
परिमाण

फल
मात्रा

No.-14. प्रदीप
प्रतीप

दीपक
उल्टा

No.-14. प्रणाम
प्रमाण

अभिवादन शब्द
सबूत

No.-15. पता
पत्ता

ठिकाना
पर्ण

No.-16. पतन
पत्तन

गिरना
बन्दरगाह

No.-17. पड़ना
पढ़ना

गिरना
अध्ययन

No.-18. प्रवाह
परवाह

बहाव
फिक्र/ध्यान

No.-19. प्रदेश
परदेश

प्रान्त
विदेश

No.-20.प्रचारक
परिचारक

प्रचार करने वाला
सेवक

No.-21. प्रकृत
पाकृत

यथार्थ
मध्य

No.-22. परिहार
प्रहार

त्याग
चोट

No.-23. परिमित
परमिति

मान/मर्यादा
चरम सीमा

No.-24. परिणति
परिणत

समाप्ति
रूपान्तरित

No.-25. पीड़ा
पीढ़ा

दर्द
चौकी

No.-26. पुरी
पूरी

नगरी
पूड़ी/सम्पूर्ण

No.-28.पूछ
पूँछ

पूछने की क्रिया
दुम

No.-29. प्रेषित
प्रोषित

भेजा हुआ
प्रवासी

 फल
फाल

खाने वाला फल
हल की नोंक/साड़ी आदि में लगाने वाला कपड़ा

No.-30. फन
फन क

सर्प का फन
कला/गुण

,

शब्द

अर्थ

शब्द

अर्थ

No.-1. बाग
बाघ

बगीचा, उद्यान
व्याघ्र (एक जानवर)

No.-2. बुरा
बूरा

खराब
शक्कर

No.-3. बली
बलि

शक्तिशाली
बलिदान

No.-4. बार
वार

पुनः
दिन

No.-5.बहु
बहू

अत्यधिक
पुत्रवधू

No.-6. बहार
बाहर

शोभा
आंगन में

No.-7. बहन
वहन

सहोदर
ढोना

No.-8. बान
बाण

आदत
तीर

No.-9.बास
वास

गंध
निवास

No.-10. बात
वात

वार्ता
वायु

No.-11. बुरा
बूरा

खराब
शक़्कर

No.-12. बाड़
बाढ़

फसल की रक्षा के लिए बनाया गया घेरा
प्राकृतिक आपदा

No.-13. भीत
भित्ति

डरा हुआ
दीवार

No.-14. भवन
भुवन

घर
संसार

, , ,

शब्द

अर्थ

शब्द

अर्थ

No.-1. मणि
मणी

रत्न
साँप

No.-2. मानक
मानिक

स्तर
लाल रंग का रत्न

No.-3. मनोज
मनोज्ञ

कामदेव
सुन्दर

No.-4. मूल
मूल्य

जड़
कीमत

No.-5. मेघ
मेधा

यज्ञ
बुद्धि

No.-6. मेदा
मैदा

पेट
बारीक़ आटा

No.-7. तथागत
यथागत

भगवान बुद्ध
मूर्ख

No.-8. रसा
रस्सा

तरी
मोटी रस्सी

No.-9. रेखा
लेखा

लकीर
हिसाब-किताब

No.-10.लक्ष्य
लक्ष

उद्देश्य
लाख

No.-11. वंशी
बँसी

मुरली
मछली का काँटा

No.-12. वदन
बदन

चेहरा
शरीर

No.-13. व्याज
ब्याज

बहाना
सूद

No.-14. वादी
बादी

मुद्दई/वक्ता
गरिष्ठ भोजन

No.-15. वाद
विवाद

तर्क
झगड़ा

No.-16.वस्तु
वास्तु

चीज
मकान

No.-17. विलक्षण
विचक्षण

अदभुत
चतुर

No.-18. व्यग
व्यंग्य

अपंग
परिहास

No.-19. वात
बात

हवा
बातचीत

No.-20.व्रत
वृत्त

उपवास
घेरा

No.-21. व्यजन
व्यंजन

पंखा
वर्ण/खाद्य पदार्थ

शब्द

अर्थ

शब्द

अर्थ

No.-1. शोक
शौक

दुख
चाव, व्यसन

No.-2. शम
सम

शांति
बराबर

No.-3. शूर
सूर

वीर
अंधा

No.-4. शस्त्र
शास्त्र

हथियार
ग्रंथ

No.-5.श्रवण
श्रमण

सुनना, कान
बौद्ध संन्यासी

No.-6. सर्ग
स्वर्ग

अध्याय
एक लोक

No.-7. साला
शाला

पत्नी का भाई
घर, मकान

No.-8. शकठ
शकट

मचान
बैलगाड़ी

No.-9. सकल
शकल

पूरा
टुकड़ा

No.-10.शंकर
संकर

भगवान शिव
मिश्रित

No.-11. साम
शाम

गेय वेद मन्त्र
सायं

No.-12. सर
शर

तालाब
बाण

No.-13. सन
सन्

जूट
साल, वर्ष

No.-14.सीसा
शीशा

एक धातु
दर्पण

No.-15. शशधर
शशिधर

चन्द्रमा
शिव

No.-16. शिरा
सिरा

नाड़ी/नलिका
छोर/किनारा

No.-17. शुक्ल
शुल्क

सफेद
फीस

No.-18. षष्टि
षष्ठी

साठ
छठी

No.-19. स्वजन
श्वजन

सम्बन्धी/मित्र
कुत्ते का बच्चा

No.-20. संकरी
सँकरी

संकर का स्त्रीलिंग
तंग

No.-21.श्याम
स्याम

कृष्ण
एशिया का एक देश

No.-22. संखिया
संख्या

व्रिष
गिनती

No.-23. सजा
सजा

सजाया हुआ
दण्ड

No.-24. सत्त्व
स्वत्त्व

सार
अधिकार

No.-25. सती
शती

पतिव्रता
शताब्दी

No.-26. सर्ग
स्वर्ग

अध्याय
तीसरालोक

No.-27. सदेह
सन्देह

सशरीर
शक

No.-28. सागर
सागर

समुद्र
प्याला

No.-29. सुधि
सुधी

स्मरण
समझदार

No.-30. क्षिति
क्षति

पृथ्वी
हानि

शब्द

अर्थ

शब्द

अर्थ

No.-1. हाल
हॉल

दशा
बड़ा कमरा

No.-2. हय
हिय

घोड़ा
हृदय

No.-3. हंसी
हँसी

मादा हंस
हँसने की क्रिया

No.-4. हंसमुख
हँसमुख

हंस का मुख
मजाकिया

No.-5. हल्का
हलका

कम वजन
क्षेत्र

No.-6. हाल
हाला

समाचार
शराब

No.-7. हेम
हिम

स्वर्ण
बर्फ

No.-8. क्षत्र
क्षात्र

मुकुट
क्षत्रिय

No.-1. असन- भोजन- संतुलित असन स्वास्थ्यकर होता है।

आसन-बैठने की वस्तु-मेरे गुरु महाराज आसन पर बैठ गये।

आसत्र-निकट-'मैंने देखा है'- आसत्रभूत का उदाहरण है।

 No.-2. अवधि-समय सीमा- अल्पावधि (कम समय में) में ही मेरा छोटा भाई अंग्रेजी सीख गया।

अवधि-भाषा विशेष- 'रामचरितमानस' की भाषा अवधी है।

 No.-3. अवमर्ष-स्पर्श, संपर्क- भाग्यशालियों को संतों का अवमर्श प्राप्त होता है।

अवमर्ष-विचार-विमर्श, आलोचना- कोई निर्णय लेने से पहले बुद्धिमानों से अवमर्ष आवश्यक है।

 

No.-4. अंस-कंधा- मेरे अंसों पर पूरे परिवार का भार है।

अंश-हिस्सा- सबको अपना-अपना अंश मिलना चाहिए।

 No.-5. अलि-भौंरा- फूलों पर बहुत-से अलि मँडरा रहे है।

अली-सखी- राधा की एक अली का नाम शांता था।

 No.-6. अपेक्षा-आकांक्षा, इच्छा- मैं आपसे अच्छे व्यवहार की अपेक्षा करता हूँ।

उपेक्षा-निरादर- किसी की उपेक्षा नहीं करनी चाहिए।

 

No.-7. अनिष्ट-बुराई- अच्छे लोग दूसरों का अनिष्ट नहीं करते।

अनिष्ठ-निष्ठारहित- अनिष्ठ समाज में सम्मानित नहीं होते।

 No.-8. अयस-लोहा- अयस से अस्त्र-शस्त्र निर्मित होते है।

अयश-अपयश- अयश से बचना चाहिए।

 No.-9. द्रव-रस, पिघला हुआ- जल द्रव है।

द्रव-धन, पदार्थ- द्रव्य दिन-प्रतिदिन महँगे होते जा रहे है।

 No.-10. द्विप-हाथी- द्विप विशालकाय होते है।

द्वीप-टापू- श्रीलंका एक द्वीप है।

 No.-11. नीर-पानी- भाषा बहता हुआ नीर होती है।

नीड़-घोंसला- रात में पंछी अपने-अपने नीड़ों में विश्राम करते हैं।

 No.-12. प्रकार-रीति- इस बाग में विभिन्न प्रकार के फूल खिले हैं।

प्राकार-किले का अंग- प्राकार ध्वस्त हो रहा है

 No.-13. वसन-वस्त्र- उसके वसन पुराने किन्तु स्वच्छ थे।

व्यसन-आदत- जुए का व्यसन बहुत खराब होता है।

 No.-14. परुष-कठोर- प्रस्तर (पत्थर) परुष होता है।

पुरुष-व्यक्ति- आज के पुरुषों में पुरुषत्व नहीं रह गया है।

 No.-15. कर्म-कार्य- कर्म का फल अवश्य मिलता है।

क्रम-सिलसिला- क्रम में छात्र आते गये और अपना-अपना पुरस्कार लेते गये।

 No.-16. मास-महीना- साल में बारह मास होते है।

मांस-गोश्त- उस भिखारी के शरीर पर मांस नहीं था।

 No.-17. मद्य-शराब- मद्यपान से स्वास्थ्य खराब होता है।

मध्य-बीच- नौका नदी के मध्य डूब गई।

 No.-18. कुल-वंश- जयंत के कुल में जगदीश ऐसा कोई पुत्र नहीं हुआ।

कूल-किनारा- नौका कूल पर लग गई।

 No.-19. बात-वचन- उसकी बात में सच्चाई है।

वात-हवा- वात धीरे-धीरे बह रहा है।

 No.-20. श्रवण-कान- श्रवणों में नुकीली चीज कभी नहीं डालनी चाहिए।

स्त्रवन-बहना- उसकी आँखों से आँसू स्त्रवित होने लगे।

 

No.-21. सूची-अनुक्रमणिका, विवरणिका- सामानों की सूची लिख लीजिये।

शुचि-पवित्र- पूजा-पाठ में शुचिता पर विशेष ध्यान दिया जाता है।

सूची-सूई- सूची और सूत्र (धागा) का अन्योन्याश्रित संबंध होता है।

 No.-22.शौर्य-शूरता- राणा प्रताप शौर्य के प्रतीक थे।

सौर्य/सौर-सूर्य से संबद्ध- सौर्य तेज से ही हम जीवित है।/सौर-मंडल में अनेक ग्रह है।

 No.-23. स्रोत-सोता- भयंकर गर्मी के कारण पानी के सभी स्रोत सूख गये है।

श्रोत-वेद- श्रोत चार है- ऋग्वेद, यजुर्वेद, सामवेद और अथर्ववेद।

 No.-24. स्वक्ष-सुंदर आँख- उसके स्वक्षों में जादू है।

स्वच्छ-साफ- स्वच्छ पानी पीना चाहिए।

 No.-25. शर्व-शिव- शर्व को महादेव भी कहते हैं।

सर्व-सब- सर्व प्राणियों में आत्मा का निवास होता है।

 No.-26. सुत-बेटा- राम दशरथ के बड़े सुत थे।

सूत-सारथि/धागा- कृष्ण अर्जुन के सुत (सारथि, रथ हाँकनेवाले) थे।/ महीन सूत से बना कपड़ा टिकाऊ होता है।

 No.-27. शुक-सुग्गा- शुक डाल पर बैठा अमरुद खा रहा है।

शूक- जौ की बाल/पौधे के कड़े रोयें- शूक में महीन और लंबे-लंबे रोयें होते हैं।

 No.-28. लक्ष्य-उद्देश्य- मेरे जीवन का लक्ष्य सुयोग्य डॉक्टर बनना है।

लक्ष-लाख- राजा ने मंत्री को दो लक्ष मुद्रायें दीं।

 No.-29. मूल-जड़- सुनील सारी झंझटों का मूल है।

मूल्य-दाम- मूल्यवृद्धि से उपभोक्ता परेशान है।

 No.-30. विजन-मनुष्य रहित स्थान- वह भटकता हुआ विजन में पहुँच गया था।

व्यजन-पंखा- गर्मी में व्यजन से राहत मिलती है।

व्यंजन-सब्जी, तरकारी- कल दीदी ने स्वादिष्ट व्यंजन बनायी थी।

 No.-31.यथेष्ट-जैसा चाहा हो गया- मुझे मेरे परिश्रम का यथेष्ट पुरस्कार नही मिला।

स्थेष्ट-अत्यंत दृढ- उमेश बाबू स्थेष्ट संकल्प के व्यक्ति है।

 No.-32.परिणाम-फल- जैसा सोचा था वैसा परिणाम नहीं मिला।

परिणाम-मात्रा- अल्प परिणाम में दवा लेनी है।

 No.-33. कृति-रचना- 'रामचरितमानस' एक महान कृति है।

कृती-निपुण- अनूप जलोटा कृती गायक है।

कीर्ति-यश- उनकी कीर्ति चारों ओर फैल गयी।

 No.-34. सामान-पदार्थ- विवाह में लगनेवाले सामानों की सूची तैयार करनी है।

समान-बराबर, सदृश्य- गाँधी के समान सत्य और अहिंसा के प्रेमी बहुत ही कम होंगे।

सम्मान-आदर- बड़ों को सम्मान देना चाहिए।

 

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